जिस तरह आशा संपूर्ण स्वास्थ्य सबके लिए पहुंचाने घर-घर दस्तक देती है वैसे ही पैरालिगल वाॅलेन्टियर भी शासन की योजनाओं को वंचित वर्ग तक सुगम बनाकर न्याय सबके लिए संदेश प्रसारित कर प्राधिकरण की मध्यस्थता में भूमिका निभाते है। उक्त बातें जिला एवं सत्र न्यायाधीश रामेश्वर कोठे के मार्गदर्शन में आयोजित विधिक साक्षरता शिविर में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के सचिव एडीजे  हेमन्त जोशी ने कही। आशाग्राम में आयोजित प्रशिक्षण में उन्होने महिला हिंसा, बाल संरक्षण के साथ-साथ प्राधिकरण द्वारा दी जा रही निःशुल्क विधिक सेवा व अधिवक्ता की सुविधा की जानकारी कार्यकर्ताओं को प्रदान की।

शिविर में उपस्थित द्वितीय अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश राकेश कुमार सोनी ने भी मार्गदर्शन प्रदान किया वहीं सिविल न्यायाधीश  राहुल सोनी ने प्रताड़ना के विषय में कार्यकर्ताओं से प्रश्न पूछे तथा बताया कि महिलाऐं मुख्यतः दो तरह से प्रताड़ित होती हैं, पहला शारीरिक तथा दूसरा मानसिक। किसी भी स्थिति में स्वयं को आहत न होने दें तथा बताए गए हेल्पलाईन नंबर पर तत्काल संपर्क करें।

न्यायाधीशगणों ने ग्राम धमनई की आशा कार्यकर्ता कुमायड़ी बाई को मध्यस्थता के माध्यम से पति-पत्नी में सुलह कराने के लिए तथा नशामुक्ति जागरण के लिए प्रशस्ति-पत्र देकर तथा मेडल पहनाकर सम्मानित किया।  इस दौरान जिला कम्युनिटी मोबाईलाईजर, पैरालिगल वाॅलेन्टियर श्रीमती नीता दुबे, मास्टर ट्रेनर संध्या सेन आदि उपस्थित थे।

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