बड़वानी / मध्यप्रदेश राज्य के हज यात्रियों को 10 साल बाद पुनः इंदौर, भोपाल के रूप में हज इम्बारकेशन पॉइंट की सौगात मिली, प्रदेश के हज यात्री जो पहले अपनी यात्रा का प्रारंभ मुम्बई से किया करते थे इस वर्ष से उनकी सुविधा के लिये इंदौर, भोपाल भी केंद्र बनाए गए, अपने राज्य से शुरू हुई इस सुविधा का लाभ लिया जाए इसको दृष्टिगत रखते हुए आवेदकों ने अपने-अपने निकटतम केंद्रों से जाने का चयन किया किंतु हज गत दिनों केंद्रीय हज कमेटी की ओर से हज यात्रा-23 की तीसरी व अंतिम किश्त जमा किये जाने के जो आदेश जारी हुए उसमें इंदौर, भोपाल का ऑप्शन लिये हज यात्रियों को मुम्बई की तुलना में क्रमशः रुपये 58,000 और 68,000 अधिक भुगतान करना पड़ रहा है जो न्यायोचित नही है, एक परिवार के दो आवेदकों को एक लाख रुपये से अधिक राशि अतिरिक्त भरना होगी,
मध्यप्रदेश हज वेलफेयर सोसायटी ने प्रदेश के हज यात्रियों का हज इम्बारकेशन पॉइंट पुनः मुम्बई किये जाने की माँग की है, चेयरमैन मुकीत खान व प्रदेश उपाध्यक्ष हाजी अब्दुल रहीम तिगाले ने बताया कि केंद्रीय हज कमेटी को हज आवेदन भरवाने से पहले इंदौर, भोपाल से जाने का एक अनुमानित खर्च बताना चाहिये था ताकि आवेदक अपनी व्यवस्था के अनुसार हज इम्बारकेशन पॉइंट का चयन करता, अंतिम किश्त में अनुमान से अधिक राशि चोंकाने वाली है,
प्रदेश उपाध्यक्ष हाजी अब्दुल रहीम तिगाले ने बताया भारत वर्ष के हज यात्रियों को इस वर्ष से फॉरेन एक्सचेंज की रकम(लगभग40 हजार) जो उन्हीं की जमा राशि में से सऊदी करंसी की शक्ल में मिलती थी वह भी बन्द कर दी गई है, अब हज यात्रियों को स्वयं व्यवस्था कर अपने खर्च के लिये सऊदी रियाल ले जाना होगा,
गत वर्ष हज कमेटी की ओर से हज यात्रियों को दिए गए ट्रॉली बैग(लगभग15000) भी इस वर्ष नही दिए जाएंगे ?
