बड़वानी / 26 मार्च को आदिवासी बारेला समाज होली मिलन समारोह और पारंपरिक गोट का आयोजन करेगा l आदिवासी बारेला समाज उत्थान समिति बड़वानी द्वारा होली मिलन एवं जाति रिवाज़ परम्परानुसार हर वर्ष की तरह इस वर्ष भी पारंपरिक गोट के आयोजन का स्थान किंग होटल पटेल प्लेस अंजड़ नाका बड़वानी मे किया जा रहा है l
डॉ रविंद्र बरड़े ने जानकारी देते हुए बताया की गोट :- आदिवासी समाज की सामूहिकता का परिचय कराता है गोट करना आदिवासी समाज की एक अनूठी परंपरा है जिसके तहत गोट मे गांव, फलिए, कॉलोनीयों आदि में रहने वाले समाजजनों से फाववी (चंदा) एकत्रित करके गोट के कार्यक्रम का आयोजन करते है।
गांव पटेल गांव के लोगों की एक बैठक बुलाकर गांव पटेल,गांव डाहला,गांव पंच, गांव के गणमान्य नागरिकों की सामूहिकता के निर्णय से निर्धारित की गयी तिथि को गोट के कार्यक्रम का आयोजन किया जाता है l गोट होली के 5 दिनों के बाद ही मनाया जाता है ऐसी पारंपरिक मानता है।
श्री पोपट लाल चौहान ने बताया की गोट का पूजन:- प्रकृति और प्रकृति सम्मत वस्तुओ और पुरखों का पारम्परिक पूजन करते है, ज्वार या चावल के दाने छोटी टोपली (टोकनी )में लेते है और अगरबत्ती, दीपक, नारियल सिंदूर दाली, हार,कांगनी, गुड़ – सेव, आदि का नेवैद्य देते और महुए की दारू को उलकी (उवकी /तुमड़ी )मे भरकर कम से कम पांच व्यक्तियों के द्वारा धार (कुछ बूंदे /तेड़ा चुवाना )धरती माता को अर्पित करते है। साथ ही बकरे,और मुर्गे के पकवानों का नेवैद्य खत्रीयों (पूर्वजों ), पुरखों और पारम्परिक देवी देवताओं को अर्पित करते है l श्री रवि सस्त्या ने बताया की गोट से आदिवासी समाज की परम्परा और संस्कृति संरक्षित रहें इसी सौहाद्रपूर्ण भावना से गोट का आयोजन करते है जिसमे समाज जन अनिवार्यतः सम्मिलित होते है।
